Monday, 20 April 2020

इक ख्वाब की खुशबू में


महक रही थी रात
राज़ की थी बात
शामिल थे तुम मेरे
इक ख्वाब की खुशबू में,
और
लोग तलाशते रहे 
वजह
बिल्कुल बेवजह,...!

#डॉप्रीतिसमकितसुराना

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