Saturday 12 September 2015

मत जताओ सहानुभूति,.

मत जताओ सहानुभूति,..ज़रा भी मेरी पीर से,
रहने दो मुझमें हौसला,.. लड़ने का तकदीर से,
मत पोंछो इन्हें मेरी आंखों से,..बहते हैं तो बहने दो,..
ये नीर ही मिटाएंगे दर्द,..मेरे हाथों की लकीर से,... प्रीति सुराना

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