copyrights protected
केवल किसी जीव को न मारना ही 'अहिंसा' नहीं है, 'जीयो और जीने दो' ये बात महावीर ने कही है, मन-वचन-कर्म से हम पंहुचा सकें साता हर जीव को, मेरी नज़र में जैनत्व की पहचान और मानवधर्म यही है,... प्रीति सुराना
No comments:
Post a Comment